इधकर कुछ दिनों से बेंजामिन फ्रैंकलिन की आत्मकथा पढ़ रहा हूँ । बहुत ही धनी व्यक्तिव और बहुआयामी प्रतिभा के धनी थे बेंजामिन फ्रैंकलिन । एक आविष्कारक, राजनीतिज्ञ और समाज सुधारक की भूमिका में थे वे । उनका जीवन अनुकरणीय है युवाओं के लिए कि कैसे संघर्षो का सामना किया ज़ाए । उनके आत्म कथा अपने पुत्र को लिखे पत्र के प्रारूप में है पर लिखने की शैली रुचिकर है अपनी आत्म कथा में इन्होंने अपने परिवार के इतिहास का भी बखूबी वर्णन किया है। बेंजामिन फ्रैंकलिन को शुरुआत से ही किताबों का पढ़ने का शौक था जिसने उनके व्यक्तिव पर गहरा प्रभाव डाला. उस समय उन्होंने उन कामो को अंजाम दिया जो हमें बहुत ही मुश्किल लगते है.
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